रैगिंग कांड से जूनियर छात्र मुश्किल में, मकान खाली कराने लगे मालिक
रोज पूछताछ से जूनियर छात्र परेशान
इंदौर। इंदौर के एमजीएम मेडिकल कालेज के जूनियर छात्र इन दिनों मुश्किल में हैं। रैगिंग मामले में पूछताछ के नाम पर पुलिस बार-बार उन्हें बुला रही है। कई बार पुलिसकर्मी उनके कमरे पर पहुंच जाते हैं, जबकि वे फरियादी हैं। 25 दिन में पुलिस आरोपी का पता तो नहीं लगा सकी, शिकायत करने वाले जरूर परेशान हो रहे हैं। पुलिसकर्मियों की आवाजाही से परेशान मकान मालिकों ने अब इन छात्रों को चेतावनी दे दी है कि वे इस माह के अंत तक मकान खाली कर दें। छात्रों ने अब इस मामले में मेडिकल कालेज प्रबंधन को पत्र लिखने का मन बना लिया है। उनका कहना है कि मामले में उनका कोई लेना देना नहीं है, बावजूद इसके उन्हें परेशान किया जा रहा है।
गौरतलब है कि एमजीएम मेडिकल कालेज के प्रथम वर्ष के छात्रों की शिकायत के बाद कालेज प्रबंधन ने संयोगितागंज पुलिस थाने पर रैगिंग में लिप्त अज्ञात छात्रों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है। इसे चार सप्ताह होने को आए हैं लेकिन पुलिस अब तक आरोपितों का पता नहीं लगा सकी। प्रबंधन ने पुलिस को रैगिंग पीड़ितों द्वारा उपलब्ध करवाई गई वाट्स अप चेटिंग के स्क्रीन शाट और वाइस रिकार्डिंग भी सौंप दी है, बावजूद इसके पुलिस खाली हाथ है।
इस माह के अंत तक मकान खाली करने का कहा – पुलिस का कहना है कि फिलहाल उन छात्रों का पता लगाया जा रहा है जिन्होंने शिकायत की थी ताकि आरोपितों का पता चल सके। इसके लिए पुलिस प्रथम वर्ष के छात्रों से पूछताछ कर रही है। इससे छात्र परेशान हैं। प्रथम वर्ष के ज्यादातर छात्र इंदौर के बाहर से हैं और यहां किराए के कमरे लेकर रहते हैं। पूछताछ के लिए पुलिस की आवाजाही से इन छात्रों की पढ़ाई तो प्रभावित हो ही रही है, मकान मालिक भी कमरा खाली करने का कहने लगे हैं। छात्रों ने बताया कि उन्हें अगस्त के अंत तक मकान खाली करने को कहा जा रहा है।