उज्जैन के एमपीईबी में चल रहा वसूली घोटाला
उज्जैन। विद्युत विभाग उज्जैन में इन दिनों चल रहे वसूली घोटाले ने विद्युत मंडल के अधिकारियों और कर्मचारियों के दिमाग का फ्यूज उड़ा रखा है। एमपीईबी का निजीकरण होने के बाद मंडल के एक बहुत बड़े अधिकारी ने भ्रष्टाचार का ऐसा करंट विभाग में दौड़ा रखा है, जिसके कारण ईमानदारी से काम करने वाले कर्मचारियों का दिमाग भी चकरा रहा है। निजीकरण के चलते साहब को अपने अधीनस्थ अधिकारियों और कर्मचारियों पर कार्रवाई करने का अधिकार है। यह भी कह सकते हैं कि पद से हटाना या कार्य बदल देने जैसे अधिकार होने का यह भ्रष्ट अफसर जमकर दुरुपयोग कर रहा है। दरअसल, इस बड़े अधिकारी के वसूली अभियान के किस्से इन दिनों लोगों की जुबां पर है। आपस में दबी जुबां से चर्चा करते हुए वह इस बड़े अधिकारी को जमकर कोस भी रहे हैं। ऐसा इसलिए, क्योंकि यह अधिकारी अपने अधीनस्थ अधिकारियों और कर्मचारियों से खुलेआम पैसे की डिमांड कर रहा है। बड़े अधिकारी का कहना है कि जिस पद पर हो, यदि उसी पर बने रहना है तो इस सुविधा का शुल्क देना होगा। मातहत कर्मचारियों से 20 से 25 हजार रुपये तक हर माह मांगे जा रहे हैं।