शासकीय सिविल अस्पताल में मरीजों को सिर्फ एक कंबल, परिजनों भी ठिठुरने का मजबूर

सारंगपुर। स्थानीय 100 बिस्तरीय सिविल अस्पताल में भर्ती रोगियों को ठंड से बचाने के लिए इंतजाम मरीजों की मात्रा में नाकाफी है। भर्ती वार्ड में पलंग पर प्रत्येक रोगी के लिए अस्पताल प्रबंधन की ओर से कंबल की व्यवस्था की जाती है। किंतु सिविल अस्पताल में पदस्थ नर्सों की हठधर्मिता के चलते मरीजों को एक से दो कंबल भी नसीब नहीं हो रहे है, जिसके कारण दूरदराज से आने वाले मरीजों को पूरी रात सर्दी में ठिठुरना पड़ता है। रोगियों-परिजनों का कहना है कि न्यूनतम तापमान में रात में ठंड से बचने के लिए ये व्यवस्था नाकाफी है। ऐसे में वे किराए के बिस्तर के सहारे रात गुजारने के लिए मजबूर हैं। इन दिनों जिले में कोरोना के नए वैरिएंट जेएन-1 के प्रसार की खबरों के बीच किराए के बिस्तरों का उपयोग अस्पताल में संक्रमण के प्रसार की वजह भी बन सकते हैं। अस्पताल परिसर के बाहर दवा दुकानों के आसपास मिलने वाली बिस्तरों को हर दिन एक नए रोगी व उनके परिजनों के उपयोग के लिए किराए पर लिया जा रहा है। बिस्तर किस वार्ड में जा रहे, और अगले दिन उसे कौन उपयोग करेगा ये तय नहीं रहता। ऐसे में कोरोना संक्रमण का प्रसार होने की पूरी संभावना है।
चुकाना पडता है
20 रूपए किराया
नाम न छापने की शर्त पर अस्पताल में मोजूद परिजनों का कहना है की वाडों में भर्ती रोगी ठंड के मारे परेशान हो रहे हैं। चिकत्सालय में रोजाना कई मरीज भर्ती होते हैं, वे किराए के बिस्तर लाकर ठंड से बच रहे, वही दूसरी तरफ प्रबंधन ने सर्दी से बचने के लिए किसी प्रकार के कोई इंतजाम नहीं किए। बता दे कि अस्पताल में भर्ती मरीज सहित प्रसूताओं के परिजन आधी रात तो अलाव के सहारे गुजार लेते। साथ ही सोने के लिए 20 रुपए जोडी किराए पर बिस्तर लिए जाते हैं, तब जाकर बमुश्किल उनकी रात अस्पताल में कटती है। प्रसूताओं के साथ आए परिजनों का कहना है की किराए के बिस्तर में हमारी रात गुजर रही हैं। यहां अस्पताल में मांगते हैं तो मरीज के लिए महज एक कंबल मिलता हैं।
स्वास्थ विभाग के जिम्मेदारों का कहना है की सिविल अस्पताल में भर्ती मरीजों और परिजनों को रोगियों के पलंग पर किराए के बिस्तर के इस्तेमाल में अवेयर सतर्कता बरतना चाहिए, किंतु जिम्मेदार शायद इस बात को भूल रहे है की कोरोना जेसी संक्रमण बीमारी के चलते अवेर्यंस करने के सारे प्रयास नाकाफी ही साबित होंगे। अस्पताल में भर्ती प्रसूताओं, परिजनों ने जिला कलेक्टर हर्ष दीक्षित सहित क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों से समस्या से निजात दिलाने की मांग की है।