महाशिवरात्रि के लिए महाकाल के सोने के शिखर धुलने लगे – पानी से सफाई कर चमकेंगे, गर्भगृह में चांदी के रुद्रयंत्र की सफाई भी होगी

दैनिक अंवतिका उज्जैन। महाकाल मंदिर में इन दिनों महाशिवरात्रि पर्व की तैयारियां जोरों पर चल रही है। मंदिर प्रबंध समिति पर्व शुरू होने से पहले पूरे मंदिर को साफ-सफाई, रंगाई-पुताई कर चमका देगी। इसके बाद अन्य तरह की सजावट की जाएगी। 

महाशिवरात्रि के लिए मंदिर के मुख्य सोने के शिखर की सफाई चल रही है। पानी से शिखरों को कर्मचारियों के द्वारा धोया जा रहा है। धुलाई करने के बाद इनकी पालिश कर चमकाया जाएगा। इसी तरह गर्भगृह के अंदर स्थित चांदी के रुद्रयंत्र, जलाधारी, आसपास की चांदी की दिवारों व दरवाजों की भी सफाई कर इन्हें चमका दिया जाएगा। कोटितीर्थ कुंड की भी सफाई समिति द्वारा कराई जा रही है। दो-तीन दिन में सफाई का कार्य पूरा होते ही पूरे मंदिर परिसर में, शिखरों पर रंग-बिरंगी विद्युत रोशनी की सजावट की जाएगी। वहीं गर्भगृह और नंदीहॉल में फूलों की सजावट व अन्य प्रकार की सजावट कराई जाएगी।  
शिवरात्रि के नौ दिन पहले 17 फरवरी 
से ही शुरू हो जाएगा मंदिर में उत्सव
महाकाल मंदिर में महाशिवरात्रि का पर्व 26 फरवरी को मनाया जाएगा। लेकिन इसके नौ दिन पहले 17 फरवरी से ही उत्सव शुरू हो जाएगा। पहले दिन भगवान महाकाल को हल्दी लगाई जाएगी। दूल्हा बनाया जाएगा। इसके बाद भगवान महाकाल प्रतिदिन भक्तों को एक से बढ़कर एक रूप में सजकर सोने-चांदी के आभूषण धारण कर दिव्य दर्शन भी देंगे। 
हर दिन चांदी के एक स्वरूप 
को धारण कर सजेंगे महाकाल 
शिव नवरात्रि के हर दिन भगवान महाकाल को पंडे-पुजारी गर्भगृह में नित-नए चांदी के स्वरूप धारण कर सजाएंगे। शाम से रात तक यह दर्शन भक्तों को होंगे। भगवान महाकाल पहले दिन हल्दी लगाने के बाद वस्त्र धारण करेंगे। इसके बाद कभी शेष नाग तो कभी मन महेश, उमा महेश, होल्कर तो तांडव जैसे अनेक रूपों में सजकर दर्शन देंगे। इसके लिए चांदी के सभी स्वरूपों को मंदिर समिति ने सफाई कर चमका कर तैयार कर लिया है। इसके अलावा चांदी के छत्र, मुंड मालाएं, नाग कुंडल, रुद्राक्ष की मालाए भी पहनाई जाएगी। 

Author: Dainik Awantika