निकाय चुनाव : एक जून से लग सकती है आचार संहिता, 25 मई तक सभी कलेक्टर सिर्फ आरक्षण का काम करेंगे

ब्रह्मास्त्र भोपाल। मध्यप्रदेश में पंचायत एवं नगरीय निकाय चुनाव के लिए 1 जून से आचार संहिता लग सकती है। इसके बाद प्रदेश सरकार कोई भी नई घोषणा नहीं कर पाएगी। सुप्रीम कोर्ट के दो सप्ताह में पंचायत और नगरीय निकायों में ओबीसी आरक्षण करवाकर चुनाव घोषित करने के आदेश के बाद राज्य निर्वाचन आयोग और सरकार भी हरकत में आ गई है। पंचायतों में ओबीसी आरक्षण करवाए जाने के एक दिन के निर्णय के बाद शुक्रवार को नगरीय निकायों में ओबीसी आरक्षण के साथ एससी और एसटी आरक्षण 50 फीसदी की सीमा कराए जाने के कलेक्टरों को आदेश जारी कर दिए गए हैं।
प्रदेश में यह पहला मौका है जब दो सप्ताह के भीतर आयोग को पंचायत और नगरीय निकाय के चुनावों की घोषणा करना है। कलेक्टरों को पांच दिनों के लिए ओबीसी समेत आरक्षण रिपोर्ट तैयार किए जाने के लिए फ्री हैंड कर दिया गया है। नगरीय निकाय में आरक्षण को लेकर विभाग से भेजे गए निर्देश में स्पष्ट कर दिया गया है कि किसी भी निकाय में 35 प्रतिशत से अधिक ओबीसी आरक्षण नहीं होगा।

10 दिन: हर दिन 1500 करोड़ के काम शुरू होंगे

राज्य सरकार चुनावी नफा-नुकसान को देखते हुए अगले 10 दिनों में 15 हजार करोड़ रुपए के काम शुरू करेगी। इनमें ग्रामीण क्षेत्रों में 1 लाख आवासों के काम आचार संहिता लागू होने के पहले शुरू हो जाएंगे। अन्य बड़े वर्गों में 82 लाख किसानों के खाते में मुख्यमंत्री सम्मान निधि के 4-4 हजार रुपए डाले जाएंगे।