छोटे से बड़े कारोबारियों के चेहरे पर छाई मुस्कान
उज्जैन। पांच दिवसीय दीपावली इस बार छोटे से लेकर बड़े कारोबारियों के लिये उम्मीदों का बाजार लेकर आई। पुष्य नक्षत्र से शुरू हुआ कारोबार दीपावली तक चलता रहा। छोटे कारोबारियों के चेहरे पर भी मुस्कान छाई हुई थी। आज और कल भी गोर्वधन पूजा-भाईदूज होने पर बाजार में रौनक बनी रहेगी।
ढाई दशक से उद्योग विहीन शहर की अर्थव्यवस्था पर कोरोना संक्रमण ने पूरी तरह से ग्रहण लगा दिया था। 2 साल में कई रोजगार चौपट हो गए छोटे उद्योगों पर तालाबंदी दिखाई दे रही थी। लेकिन इस बार दीपावली का त्योहार रौनक लेकर आया है। वर्ष के सबसे बड़े त्योहारों में शामिल पांच दिवसीय दीपोत्सव को लेकर पुष्य नक्षत्र से शुरू हुआ बाजार बीती रात दीपावली तक रफ्तार पकड़ता दिखाई दिया। जहां बडे कारोबारियों के चेहरे धन तेरस से खिले नजर आ रहे थे, वहीं छोटे कारोबारियों चेहरे पर भी मुस्कान छाई हुई थी। हर घर-प्रतिष्ठान रोशनी में डूबा हुआ था। पूरा शहर दीपावली मनाने को आतूर दिखाई दे रहा था। प्रमुख बाजार गोपाल मंदिर में चार दिनों से भीड़ कम होने का नाम नहीं ले रही थी। दीप पर्व और पूजन से जुड़ी हर छोटी से छोटी सामग्री की दुकानों पर खरीददारी का क्रम बना हुआ था। दामों में हर वर्ष की तुलना में तेजी थी, लेकिन उत्साह कम नहीं था। माना जा रहा है कि इस बार बाबा महाकाल की नगरी में दीपावली से जुड़ा कारोबार पांच दिनों करीब 60 से 70 करोड़ के आसपास पहुंचा है।