आज 25 घंटे रहेगा पुष्य नक्षत्र ,शुक्र पुष्य का बन रहा संयोग

 नवीन कार्य आदि के लिए शुभ…

उज्जैन |चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि शुक्रवार के दिन पुष्य नक्षत्र तथा सुकर्मा नाम का योग रहेगा। पुष्य नक्षत्र का समय तकरीबन 25 घंटे रहेगा। शुक्रवार के दिन पुष्य नक्षत्र आने से यह शुक्र पुष्य कहला रहा है हालांकि ज्योतिष शास्त्र में पुष्य नक्षत्र मूलतः गुरुवार के दिन रविवार के दिन ही माना जाता है, फिर भी यदि शुभ दिवस पर पुष्य नक्षत्र का संयोग बनता हो तो भी वह ग्रहण करने योग्य है।

27 नक्षत्र में राजा है पुष्य…

नक्षत्र मंडल में 27 नक्षत्र है इनमें पुष्य नक्षत्र को नक्षत्रों का राजा माना गया है इस नक्षत्र का स्वामी शनि उप स्वामी बृहस्पति है संबंधित विषय यानी कि बैंकिंग, वाहन, एफडी, योजना कार्य आदि की शुरुआत या इंश्योरेंस पॉलिसी की खरीदी की जा सकती है।

चंद्रमा दिन भर रहेगा वर्गोत्तम….

नक्षत्र चंद्रमा तथा इसके संचार के नियम से संबंधित होते हैं क्योंकि पुष्य नक्षत्र कर्क राशि के चंद्रमा की कक्षा में आता है और कर्क लग्न मैं चंद्रमा की उपस्थित होने से यह वर्गोत्तम कहलाएगा हालांकि शुक्रवार के दिन पुष्य नक्षत्र का होना पूरे दिन ही अनुकूल है फिर भी चंद्र की गणना से देखिए तो यह श्रेष्ठ योग भी है क्योंकि इस दिन मांगलिक कार्य के लिए कोई भी रस्म की जा सकती है या विवाह आदि कार्य की रूपरेखा को इस दिन तय किया जा सकता है।