पटवारी भर्ती परीक्षा- फर्जी दस्तावेज लगाए हैं तो नियुक्ति मिलेगी नहीं और जेल जाना पड़ेगा सो अलग
भोपाल। पटवारी भर्ती परीक्षा में सरकारी पक्ष की ओर से वैसे तो कहा जा रहा है कि किसी भी तरह की कोई गड़बड़ी नहीं हुई है। फिर भी अगर पटवारी परीक्षा के लिए चयनित अभ्यर्थी ने फर्जी दस्तावेज लगाए हैं या कोई और गड़बड़ी की है,तो उसके लिए वह स्वयं जिम्मेदार होगा। नियुक्ति के पहले होने वाली जांच में सब सामने आ जाएगा। नियुक्ति तो मिलेगी नहीं और जेल जाना पड़ेगा सो अलग। गौरतलब है कि समूह-2 उपसमूह-4 एवं पटवारी भर्ती परीक्षा में 451 पदों पर दिव्यांग उम्मीदवार चयनित हुए हैं। यह संख्या दिव्यांगों के लिए विज्ञापित पद के बराबर ही है। वहीं राज्य सरकार ने यह माना है कि वन रक्षक, जेल प्रहरी भर्ती परीक्षा की विभागीय रूल बुक के अनुसार विकलांगों को भर्ती में शामिल करने का प्रावधान नहीं रखा गया। इस परीक्षा में सामान्य उम्मीदवार ही भाग ले सकते थे। इसलिए दिव्यांग उम्मीदवार द्वारा दिव्यांग के स्थान पर सामान्य श्रेणी में आवेदन की बात भी ठीक नहीं है।
वहीं, राज्य सरकार का कहना है कि यदि किसी उम्मीदवार ने किसी निर्धारित अर्हता के विरुद्ध कथित रूप से फर्जी प्रमाण-पत्र, दस्तावेज प्रस्तुत किया है तो इसकी जांच दस्तावेज सत्यापन के दौरान संबंधित विभाग द्वारा कराई जाती है। यह प्रक्रिया नियुक्ति देने के पूर्व होती है। यदि किसी उम्मीदवार द्वारा परीक्षा के दौरान किसी प्रकार की गड़बड़ी की गई है तो इसके लिए वे स्वयं उत्तरदायी हैं। ऐसे प्रकरणों की जांच कराकर दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
सभी तरह की भर्तियों में उम्मीदवारों की जाति, विशेष श्रेणी, विकलांगता आदि संबंधी दावे की सत्यता के लिए उम्मीदवार स्वयं जिम्मेदार होते हैं। प्रमाणपत्रों का सत्यापन मंडल स्तर पर नहीं किया जाता। चयनित उम्मीदवारों के सभी दस्तावेजों का सत्यापन उसी विभाग द्वारा किया जाता है, जिसमें उसका सिलेक्शन हुआ है, इसलिए जन्मतिथि, दिव्यांगता, शिक्षा, आयु, जाति आदि के विषय में दी गई जानकारी के लिए आवेदक ही उत्तरदायी होता है।
शिक्षक भर्ती…1173 आवेदक प्रमाणित दस्तावेज नहीं दे सके
राज्य सरकार का कहना है कि प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा के आधार पर 30216 चयनित शिक्षकों के दस्तावेजों का सत्यापन कराया गया था। जिसमें से 1173 आवेदकों को प्रमाणित दस्तावेज न होने से नियुक्ति के लिए अपात्र पाया गया। विभाग द्वारा अपात्रों के स्थान पर वेटिंग लिस्ट से उम्मीदवार को नियुक्ति का अवसर प्रदान करता है।
पत्नी को जमीन पर पटककर पीटा, पेशाब पिलाई, पहले भी नग्न कर की थी पिटाई
सीहोर। एक महिला को उसके पति ने उसे जमीन पर पटककर पीटा। उसे घसीटते हुए बाथरूम ले गया और वहां पेशाब पिलाई। पीड़ित सोमवार को महिला थाने पहुंची। उसने पति के खिलाफ शिकायती आवेदन दिया। साथ ही पुलिस को मारपीट का वीडियो भी सौंपा।
मामला जिले के श्यामपुर तहसील के एक गांव का है। महिला थाना प्रभारी पूजा राजपूत ने बताया कि पीड़िता के आवेदन के आधार पर एफआईआर दर्ज की गई है। आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है।
जान बचाने दीवार फांदकर भागी
महिला ने बताया -‘पति यहीं नहीं रूके उन्होंने एक चाकू निकला और मारने दौड़े। तभी मेरे बच्चों ने आकर मुझे बचाया। इसके बाद पति ने गेट पर ताला लगा दिया। मैंने जान बचाने के लिए कुर्सी पर चढ़कर दीवार फांदकर बाहर निकली। छोटे बेटे को मारने पर वह भी दीवार फांदकर भाग निकला। इसके बाद बड़े बेटे को भी पति ने भगा दिया। मैं रात में काफी देर तक यहां-वहां घूमती रही। फिर एक परिचित घर जाकर रात काटी।’ इसके पहले भी पति ने मुझ पर केरोसिन डालकर आग लगाने की कोशिश की थी। नग्न कर मेरी पिटाई की थी।