संविदा के बाद अब 10 लाख आउटसोर्स कर्मचारी लामबंद बड़ा प्रदर्शन करने 6 को भोपाल में जुटेंगे
भोपाल । संविदा के बाद अब मप्र के अलग-अलग विभागों में काम कर रहे 10 से 12 लाख आउटसोर्स कर्मचारियों ने सरकार की चिंता बढ़ा दी है। तीस से भी अधिक संगठनों की लामबंदी के साथ ये कर्मचारी 6 अगस्त को भोपाल में जुटने जा रहे हैं। इनकी सरकार से मांग है कि समान पद-समान वेतन के साथ समकक्ष पद पर संविलियन हो। साथ ही महिलाओं को मातृत्व अवकाश मिले।
इन संगठनों ने 11 जुलाई से अभी तक 5 हजार से अधिक अनुरोध पत्र प्रशासन, विधायकों, मंत्रियों और भाजपा नेताओं को दिए हैं, जिनका कोई जवाब नहीं मिला। इसी को देखते हुए चुनावी साल में ये कर्मचारी मुखर हो गए हैं। पिछले साल भी ये राजधानी में जुटे थे, तब चिनार पार्क से इन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था। इस बार भी आउट सोर्स कर्मचारी संयुक्त मोर्चा ने प्रशासन से मांग की है कि उन्हें नीलम पार्क, चिनार पार्क या पॉलिटेक्निक चौराहे पर जुटने की मंजूरी दी जाए, लेकिन अभी तक कोई स्वीकृति नहीं दी गई है।
एजेंसी 15 हजार ले रही, कर्मचारी को सिर्फ 10 हजार
आउटसोर्स, अस्थायी एवं ठेका कर्मचारी संयुक्त मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष वासुदेव शर्मा ने कहा कि सरकार उनकी अनदेखी कर रही है। आउटसोर्स में काम करने वालों को 8 से 10 हजार रुपए मिल रहे हैं, जबकि एजेंसियां 12 से 15 हजार रुपए प्रति कर्मचारी सरकार से ले रही हैं। युवा आउटसोर्सिंग सामाजिक कल्याण समिति और सिविल सप्लाई कार्पोरेशन आउटसोर्स कर्मचारी संघ का भी आंदाेलन काे समर्थन है।