इंदौर नहीं, हम किसी बीहड़ में व्यापार कर रहे! व्यापारियों का फूटा गुस्सा

दादागीरी और कब्जों से परेशान राजवाड़ा क्षेत्र के 13 व्यापारी संगठन आंदोलन को तैयार

इंदौर। ‘लग रहा है कि हम इंदौर में नहीं, किसी बीहड़ में दुकान खोलकर बैठे हैं।’ दादागीरी और कब्जों से परेशान राजवाड़ा क्षेत्र के 13 व्यापारी संगठनों के पदाधिकारियों ने संयुक्त रूप से यह बात कही है। कारोबारी नगर निगम और पुलिस से ही नहीं, अब तो जनप्रतिनिधियों के रवैये से भी नाराज नजर आ रहे हैं। राजवाड़ा क्षेत्र में दुकान के बाहर सड़क और फुटपाथ पर कब्जों के साथ मध्यक्षेत्र के बाजारों में गुंडागर्दी ने कारोबारियों को एक साथ खड़ा कर दिया है।
इन कारोबारियों ने कहा कि अधिकारी कह रहे हैं कि कब्जों पर कार्रवाई करने से उन्हें ‘ऊपर वालों’ ने रोक रखा है। वोट से लेकर चुनावी चंदा लेने वाले नेता अब हमारी सुध लेने भी नहीं आ रहे। मध्य क्षेत्र के इन 13 व्यापारी संगठनों ने अधिकारियों और नेताओं को समस्या समाधान के लिए रविवार तक का समय दिया है। इसके बाद आंदोलन की चेतावनी दी है।
श्री क्लाथ मार्केट मर्चेंट एसोसिएशन के कमेटी हाल में पत्रकार वार्ता में व्यापारी संगठनों के पदाधिकारियों ने कहा कि यदि कार्रवाई नहीं हुई तो सोमवार से बाजारों में आंदोलन शुरू होगा। पहले काले झंडे लगाए जाएंगे। बाद में बाजार बंद और चुनाव व राजनेताओं का बहिष्कार भी करेंगे। रिटेल गारमेंट व्यापारी एसोसिएशन के अध्यक्ष अक्षय जैन ने आरोप लगाया कि जो व्यापारी शासन को टैक्स दे रहे हैं, उनकी दुकानों के बाहर गुंडा तत्व कब्जा कर रहे हैं।
कार्रवाई के बजाय नगर निगम के अधिकारी कह रहे हैं कि भोपाल से उनके हाथ बांध रखे गए हैं। क्लाथ मार्केट एसोसिएशन के मंत्री कैलाश मूंगड़ ने कहा कि बाजार में दलालों का कब्जा है। व्यापारी विरोध करते हैं तो उन्हें धमकाया जा रहा है। क्लाथ मार्केट में ड्रग बिक रही है। सराफा व्यापारी एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल रांका ने कहा कि राजवाड़ा पर हुए कब्जों के असर से सराफा से लेकर क्लाथ मार्केट व आसपास के बाजारों का व्यापार आधा हो गया है। ऐसे 28 दलालों की सूची पुलिस थाने पर दी लेकिन पुलिस कार्रवाई नहीं करती।

लाखों में बिक रही सड़क

व्यापारी संगठनों के पदाधिकारियों का खुलकर कहना है कि सड़क और फुटपाथ पर कब्जे करवाने वाले बदले में लाखों रुपये वसूल रहे हैं। बाकायदा इसके एग्रीमेंट साइन हो रहे हैं। व्यापारी संघों ने ऐसे एग्रीमेंट भी सामने रख दिए। निहालपुरा क्षेत्र के व्यापारी ने कागज पेश किए कि दुकान के सामने से पलंग हटाने के लिए राजकुमारी नाम की महिला ने उससे पूरे 18 लाख रुपये लिए। पुलिस-प्रशासन ने मदद नहीं की, आखिर उसने रुपये दिए। व्यापारियों ने मांग रखी कि मध्य क्षेत्र के बाजारों में कब्जे हटाए जाएं। गुंडा तत्वों पर कार्रवाई हो। सुरक्षा और यातायात प्रबंध को लेकर माकूल व्यवस्था की जाए।

लगातार जारी है विवाद

राजवाड़ा क्षेत्र में ढाई वर्षों से विवाद जारी है। पांच साल पहले स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत क्षेत्र के व्यापारियों को हटा दिया गया था। इन्हें नए गोपाल मंदिर कांप्लेक्स में ढाई साल पहले जगह दी गई। बाहर सड़कों पर कब्जे कर दुकानें लगने लगीं। कुछ दबंग फुटपाथ पर कब्जे के बदले वसूली कर रहे हैं। निगम के रिमूवल अमले व अन्य पर भी वसूली करने के आरोप लगे। व्यापारियों ने कब्जे हटाने के लिए शिकायत की तो बीते दिनों व्यापारियों पर हमले हुए और धमकी भी दी गई। ऐसी चार से ज्यादा घटनाएं हो चुकी हैं। क्षेत्र के कब्जों के कारण सराफा, क्लाथ मार्केट व आसपास के क्षेत्रों में भी ग्राहक नहीं पहुंच पा रहे इससे व्यापारी अब उग्र होने लगे हैं।