शिक्षा विभाग की गाइडलाइन का पालन नही कर रहे शिक्षक, अब उत्तरपुस्तिका नही जांचने वालो पर कसा शिकंजा
इंदौर। हाईस्कूल और हायर सेकंडरी के साथ ही प्राइमरी-मीडिल की परीक्षाएं भी समाप्त हो चुकी हैं। शिक्षा विभाग का ध्यान अब सभी परीक्षाओं के रिजल्ट समय पर देने की ओर है। ऐसे में कई प्रकार की लापरवाही भी सामने आ रही है। इन्हीं में सबसे बड़ी लापरवाही टीचरों भी सामने आई है। ऐसे सैकड़ों टीचर हैं, जो कॉपियां चेक करने केंद्रों पर पहुंचे ही नहीं। जिला शिक्षा विभाग, बीआरसी द्वारा राज्य शिक्षा केंद्र के निर्देश पर ऐसे मूल्यांकनकर्ताओं को कारण बताओ नोटिस जारी किए गए हैं।
इंदौर में भी 165 मूल्यांकनकर्ताओं को यह नोटिस जारी किए हैं। हाल ही में प्राइमरी और मिडिल बोर्ड की परीक्षाएं संपन्न हो गई और उनकी उत्तर पुस्तिकाओं को जांचने का काम शुरू हो गया। इंदौर जिले में लगभग 5 लाख उत्तर पुस्तिकाएं जांची जानी है। इन्हें समय पर जांच कर निर्धारित शेड्यूल के हिसाब से रिजल्ट देना है।
बड़ी संख्या में शिक्षक-शिक्षिकाएं मूल्यांकन का कार्य कर रहे हैं, लेकिन कुछ ऐसे लापरवाह भी है जिनकी वजह से मूल्यांकन कार्य प्रभावित हो रहा है। बताया जाता है कि इंदौर जिले में 165 मूल्यांकनकर्ता जी कि अपना कार्य सही ढंग से नहीं कर रहे हैं और अनुपस्थित हैं।
ऐसे सभी मूल्यांकनकर्ताओं को कारण बताओ सूचना पत्र जारी किए हैं। उन्हें कारण बताओ सूचना पत्र के माध्यम से यह भी कहा गया है कि यदि उन्होंने निर्धारित समय अवधि में कारण बताओ सूचना पत्र का जवाब नहीं दिया तो एकपक्षीय कार्यवाही की जाएगी और मध्य प्रदेश सिविल सर्विस सेवा एक्ट के अंतर्गत उन्हें दोषी माना जाएगा।
अधिकारियों के अनुस्यर टीचरों में सरोज खुशाल, संतोष श्रीवास्तव, माया हिंगोनिया, राधा तिवारी, कृति मंडलोई अमित,पुष्णा तिवारी, रजनी भट्ट ,अर्पिता धरपरले जितेंद्र व्यार, घनश्याम तोमर, संगीता अभिया
सैफी, सुदेश तिवारी, संजय चौहान, मोनिका सोनी, परमार फोति हिंगोरानी, साक्षी सचिन इटावदिया, पूनम जाटव, सोनल पालीवाल, पूर्णिमा रानी, नामदेव ज्योति ठाकूर, सहित अन्य को नोटिस जारी किया है।