इंदौर, उज्जैन, देवास की सीटों पर आज दिल्ली में चर्चा, युवाओं पर फोकस
इंदौर। मालवा क्षेत्र की तीन महत्वपूर्ण सीट इंदौर , उज्जैन और देवास में चुनाव प्रचार के तौर तरीके और युवा मतदाताओं पर फोकस के सिलसिले में आज दिल्ली में चर्चा हो सकती है। यह चर्चा इन क्षेत्रों के विभिन्न कांग्रेस पदाधिकारियों के साथ पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे या राहुल गांधी कर सकते हैं। बीते आम चुनाव में भाजपा के पक्ष में गए युवाओं और नवमतदाताओं को अब कांग्रेस साधने में जुटी है। इसके लिए अभियान शुरू किए जा चुके हैं। इंदौर के चुनाव को भले ही एकतरफा माना जा रहा है, लेकिन कांग्रेस इससे सहमत नहीं है। इंदौर की सीट को लेकर शुक्रवार को दिल्ली में भी चर्चा होने वाली है।
आंकड़ों पर गौर करें तो इंदौर जिले में 70 हजार 771 मतदाता 18 से 19 वर्ष के हैं। ये वे मतदाता हैं, जो इस चुनाव में पहली बार मतदान करेंगे। जिले में निर्वाचन आयोग के अनुसार जिले में 20 से 29 वर्ष के मतदाताओं की संख्या 5 लाख 92 हजार है। 30 से 39 वर्ष की उम्र वाले करीब साढ़े सात लाख मतदाता हैं। लिहाजा आनुपातिक रूप से देखा जाए तो 20 से 39 आयु वर्ग में सबसे ज्यादा मतदाता हैं।
कांग्रेस की ओर से इंदौर में चुनावी प्रचार और बैठकों की शुरुआत शैक्षणिक संस्थानों से की गई है। तमाम कालेज और कोचिंग क्लासेस के समूहों की अलग-अलग बैठकों की शुरुआत हो चुकी है। अब तक इंदौर में कम से कम 8-9 ऐसी बड़ी बैठकें हो चुकी हैं। कांग्रेस अपने उम्मीदवार अक्षय बम को सीट से युवा उम्मीदवार के रूप में प्रचारित कर युवाओं में पैठ बनाने में जुट गई है।
कांग्रेस में बीते दौर के दलबदल और वरिष्ठ नेताओं के अनमने रुख के बाद भी कांग्रेस इंदौर सीट से काम करने के लिए युवा कार्यकर्ताओं को आगे कर रही है। दो प्रभारी सत्यनारायण पटेल और शोभा ओझा के व्यक्तिगत कारणों का हवाला देकर काम करने से इन्कार के बाद एनएसयूआइ के प्रदेश अध्यक्ष विपिन वानखेड़े को इंदौर का प्रभार सौंप दिया गया।
इसी बीच कुछ कार्यकारी अध्यक्ष जैसे पदाधिकारी भी चुनावी दृश्य से गायब हैं। ऐसे में युवाओं की टीम काम में लगाई जा रही है। युवा कांग्रेस, एनएसयूआई के साथ सेवादल के कार्यकर्ता भी स्थानीय उम्मीदवार अक्षय बम के लिए काम में लगाए जा रहे हैं।
दिल्ली में आज चर्चा
मप्र और इंदौर सीट को लेकर शुक्रवार को दिल्ली में चर्चा होने की उम्मीद है। दरअसल इंदौर व आसपास के कुछ कांग्रेस नेता मुख्यालय से बुलावा आने के बाद गुरुवार को दिल्ली पहुंचे हैं। चर्चा है कि शुक्रवार को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे या राहुल गांधी से इनकी चर्चा होगी। प्रदेश में प्रचार अभियान और आने वाली सभाओं को लेकर भी खाका तैयार होने की उम्मीद है।