मनमानी पर सख्ती, दो स्कूलों पर लगाई 2-2 लाख की पेनाल्टी

 

स्कूलों पर ड्रेस और किताबें विशेष दुकानों से खरीदने के लिए बाध्य करने का आरोप

इंदौर। स्कूलों और निर्धारित दुकान से ड्रेस और किताबें खरीदने को बाध्य करने वाले दो प्राइवेट स्कूलों पर प्रशासन ने कार्रवाई करते हुए दो-दो लाख रुपये का जुर्माना लगाया। प्रशासन के पास नारायण-ई टेक्नो स्कूल एवं ज्ञान कार्निवाल स्कूल की शिकायत पहुंची थी। शिकायत के आधार पर कलेक्टर आशीष सिंह ने जांच कमेटी कठित कर जांच कराई।
जांच सही पाए जाने पर दोनों स्कूलों को नोटिस दिए गए थे। स्कूलों द्वारा संतोषप्रद जवाब नहीं देने पर स्कूलों पर कार्रवाई की गई। इंदौर में ड्रेस और कापी-किताबों की खरीदी में प्राइवेट स्कूलों की मोनोपाली रही है।
इसी मोनोपाली को खत्म करने के लिए कलेक्टर आशीष सिंह द्वारा बड़ी कार्रवाई की गई। कलेक्टर के पास नारायण-ई टेक्नों स्कूल और ज्ञान कार्निवाल स्कूल की शिकायत पहुंची थी। जांच टीम के औचक निरीक्षण में नारायण-ई टेक्नो स्कूल द्वारा ड्रेस, किताबें व कॉपियां विक्रय किए गए थे।
सभी पर स्कूल का नाम मुद्रित पाया गया। सामग्री जब्त कर पंचनामा बनाया गया था। इसके अलावा क्लर्क कालोनी स्थित कार्निवाल स्कूल द्वारा भी अधिकृत दुकान से कापी-किताब और ड्रेस खरीदने के लिए बाध्य किया जा रहा था। स्कूल द्वारा ड्रेस के लिए साेनू गारमेंट और किताब कापी के लिए अन्य दुकानों को अधिकृत किया गया था।
स्कूल ने सूचना पटल पर किताबों की सूची प्रदर्शित भी नहीं की थी। स्कूलों को निर्देशित किया गया है कि पालकों को खुली दुकानों से सरल एवं सुगमता से कॉपी-किताब, ड्रेस, टाई, जूते आदि खरीदने के लिए पूर्ण सहयोग प्रदान करेंगे।

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यह सख्ती और पहले दिखाई होती तो ज्यादा अच्छा होता, देरी से की गई कार्रवाई

शहर में जिला प्रशासन ने दो स्कूलों पर किताब-कॉपी और ड्रेस की मानोपाली को लेकर अर्थदंड की कार्रवाई की गई है, जबकि सत्र शुरू होने से पहले ही कई पालकों ने किताब और कॉपियां खरीद ली। अन्य स्कूलों में भी किताब और कॉपियों को लेकर मानोपाली जारी है। प्राइवेट स्कूलों की किताब निर्धारित दुकान पर ही मिलती है। यही हाल ड्रेस को लेकर भी है। शिक्षा सत्र शुरू होने के दौरान ही इसे सख्ती से कार्रवाई होना चाहिए।