सवारी में ऊंचे बेरीकेट्स ओर पालकी को घेरकर चल रहे विशेष लोगों की वजह से दर्शन में आई अड़चन
दैनिक अवन्तिका ब्रह्मास्त्र उज्जैन
उज्जैन। बाबा महाकाल की सवारी में एक बार फिर ऊंचे बेरिकेट्स की वजह से कई श्रद्धालु पालकी में विराजे महाकाल बाबा की झलक पाने के लिए तरसते रहे। हर बार की तरह इस बार भी प्रशासन सुलभ दर्शन के दावे करता रहा। लेकिन पहली सवारी में ही स्थिति बिगड़ी दिखाई दी। लोग बैरिकेट्स के अंदर कई देर तक फंसे रहे और जब पालकी उनके पास से गुजरी तो वह बाबा को ठीक से निहार भी नहीं पाए। एक तो उंचे बैरिकेट्स ऊपर से पालकी को घेरकर चल रहे खास लोगों की वजह से भी आम श्रद्धालुओं को पालकी के दर्शन नहीं हो पाए। इस बार जब प्रशासन ने सवारी की व्यवस्था को लेकर बैठक बुलाई थी तो उसमें भी अधिकारियों के पास सवारी में बदलाव के कई सुझाव आए थे तथा सवारी मार्ग पर लगे ऊंचे बेरिकेट्स को हटाने की भी मांग उठी थी। हालांकि कुछ जगह पर छोटे बैरिकेट्स भी लगे थे।लेकिन अधिकांश मार्ग पर ऊंचे बेरीकेट्स लगे होने की वजह से श्रद्धालु पालकी के ठीक से दर्शन नहीं कर पाए। जब भी सवारी निकलती है तो लोग सवारी आने से पहले ही अपनी जगह तयकर पालकी आने का इंतजार करते हैं और जैसे ही श्रद्धालुओं को पालकी आने की आहट सुनाई देती है तो वह बाबा की झलक पाने के लिए टकटकी लगाए खड़े रहते हैं और जब पालकी श्रद्धालुओं के नजदीक से गुजराती है तो वह बाबा की एक झलक के लिए बेताब रहते हैं। लेकिन ऐसे में अगर उनको पालकी के दर्शन नहीं होते हैं तो वह निराश हो जाते हैं। इस बार भी पहली सवारी में यही स्थिति देखने को मिली कई जगह तो पालकी के पास कई लोगों की भीड़ जमा थी इस वजह से भी लोगों को पालकी के दर्शन नहीं हो पाए वहीं कई स्थानों पर लगे ऊंचे बेरीकेट्स की वजह से भी श्रद्धालु पालकी के दर्शन नहीं कर पाए।