हिरासत में आया डिजिटल अरेस्ट गिरोह में शामिल दूसरा आरोपी
उज्जैन। सेवानिवृत्त बैंक मैनेजर को डिजिटल अरेस्ट कर 50.71 लाख की राशि अपने खाते में ट्रांसफर कराने वाले गिरोह में शामिल दूसरे आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है। आज उसे न्यायालय में पेश किया जायेगा। आरोपी ने पूर्व में गिरफ्तार किये गये युवक को कमीशन का झांसा देकर खाता खुलवाया था और गिरोह के साथियों को पहुंचाया था। 7-6 अगस्त को छायानगर नीरा हवेली में रहने वाले सेवानिवृत्त बैंक मैनेजर राकेश कुमार पिता स्व. किशनचंद्र जैन को वाट्सएप कॉल कर बदमाशों ने डिजीटल अरेस्ट कर लिया था और खुद को सीबीआई और मुम्बई क्राइम ब्रांच का अधिकारी बताकर लाखों की मनी लॉड्रिंग में नाम आने का झांसा देकर 50.71 लाख की राशि अपने खातों में ट्रांसफर करा ली थी। 10 अगस्त को मामले की शिकायत माधवनगर थाना पुलिस ने दर्ज की थी। जांच के दौरान 26 सितंबर को गाजियाबाद के मुरार नगर में रहने वाले अर्जुनसिंह पिता सेंसर पाल को गिरफ्तार कर उज्जैन लया गया था। वह 7 अक्टूबर तक रिमांड पर है। उसने बताया था कि खाता गुरमीत उर्फ कपिल पिता रणधीरसिंह चौधरी जाट ने खुलावाया था और बदले में उसमें आने वाली राशि का 25 से 30 प्रतिशत देने की बात कहीं थी। एसआई शशिकांत गौतम ने बताया कि अर्जुन द्वारा बताये गये गुरमीत को गिरफ्तार करने के लिये एक टीम रवाना हुई थी। गुरूवार-शुक्रवार रात उत्तरप्रदेश के अलीगढ स्थित छतुपुर से गुरमीत उर्फ कपिल जाट को गिरफ्तार कर लिया गया है। प्रारंभिक पूछताछ में उसने खाता खुलवाने के बाद टेलिग्राम पर गिरोह में शामिल सदस्यों को देने की बात कबूल की है। शुक्रवार को उसे भी न्यायालय में पेश कर रिमांड पर लिया जायेगा। उसके बाद गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश शुरू की जायेगी।