गिरोह का मुख्य सरगना की तलाश, महिला करती थी रैकी अमेरिकी डालर दिखाकर 5 बदमाशों ने ठगा था 4 लाख से भरा बेग

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उज्जैन। आदिम जाति कल्याण विभाग से सेवानिवÞृत्त अधिकारी को अमेरिकी डालर का कम दाम में सौदा करने का झांसा देकर 4 लाख से भरा बेग लेकर भागने बदमाशों के गिरोह से जुड़े 4 आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया गया है। मुख्य सरगना की तलाश जारी है।
देवास के शंकरगढ़ बालगढ़ में रहने वाले हरिनारायण पिता पन्नालाल आदिम जाति कल्याण विभाग से सेवानिवृत्त है। 12 नम्बर को नानाखेड़ा बस स्टेंड बुलाकर 3 बदमाशों ने कम कीमत में लाखों के डालर देने का झांसा देकर 4 लाख रूपयों से भरा बेग ले लिया था। बदमाशों ने डालर के बदले कागज की गड्डियों से भरा बेग थमाया था। मामला नानाखेड़ा थाने पहुंचने के बाद पुलिस ने जांच कर 20 नवम्बर को प्रकरण दर्ज किया था। सीसीटीवी कैमरों के फुटेज देखने पर बदमाश बस से इंदौर जाते दिखाई दिये थे। थाना प्रभारी नरेन्द्र कुमार यादव ने एएसआई विक्रमसिंह, प्रधान आरक्षक पियुष मिश्रा आरक्षक सोहन, उदित नागर की टीम को तलाश में रवाना किया। एक बदमाश जीतिन पिता बलालदास निवासी शास्त्रीनगर रूद्रपुर उत्तराखंड को गिरफ्तार कर लाया गया। जिसे रिमांड पर लेकर पूछताछ करने पर गिरोह से जुड़े इंदौर के खजराना में रहने वाले फारूख, कलाम पिता चुन्नूअली लश्कर निवासी परगना पश्चिम बंगाल, मुख्तार आलम पिता नूर मोहम्मद निवासी मधुबनी बिहार और उसकी पत्नी शबीना निवासी मथुरारोड दिल्ली की जानकारी सामने आई। जीतिन की जानकारी पर मुख्तार, उसकी पत्नी शबीना और कलाम को गिरफ्तार किया गया। फारूख गिरफ्त में नहंीं आ पाया। एएसआई विक्रमसिंह ने बतााया कि चारों आरोपितों से 1 अमेरिकी डालर और 3 दीरम विदेशी मुद्रा बरमाद की गई है। वहंी 2 मोबाइल जप्त किये गये है। 4 लाख की राशि से भरा बेग नहीं मिला है। चारों ने कुछ रूपये मिलने के बाद बेग फारूख द्वारा लेकर जाना बताया है।
वारदात से पहले देवास में मिले थे 2 बदमाश
नानाखेड़ा बस स्टेंड पर हुई वारदात से पहले  2 बदमाश जीतिन और कलाम सेवानिवृत्त अधिकारी से देवास में मिले थे। उन्होने एक अमेरिकी डालर 20 रूपयें में देकर उनका मोबाइल नम्बर ले लिया था। बाद में हजारों के डालर होने की बात मोबाइल पर बताई और कम कीमत में देने का झांसा दिया। सेवानिवृत्त हरिराम 4 लाख से भरा बेग लेकर डालर का सौदा करने नानाखेड़ा बस स्टेंड आ गये थे। नोटो का बेग देने के बाद डालर से भरा बेग खोलने पर उसमें कागज की गड्डियां भरी होना सामने आई थी।
महिला करती थी रैकी, बाइक से आया था फारूख
बताया जा रहा है कि गिरोह में शामिल मुख्तार और उसकी पत्नी शबीना लोगों को झांसे में लेने के लिये पहले रैकी करते थे। उसके बाद फारूख, जीतिन और कलाम बातों में उलझाते थे। नानाखेड़ा पर हुई वारदात के बाद फारूख रूपयों को बेग लेकर बाइक से इंदौर भाग निकला था। गिरोह के चारों आरोपित बस से इंदौर पहुंचे थे। जहां से दिल्ली चले गये थे। इस दौरान जीतिन दास के साथ दुर्घटना हो गई और उसका एक हाथ फैक्चर हो गया। उसने अपने हिस्से में आये रूपये खुद के और परिवार के उपचार में खर्च कर दिये।
फारूख से की जायेगी बरामदगी
थाना प्रभारी नरेन्द्र यादव ने बताया कि 4 लाख से भरा बेग फारूख लेकर भागा है। गिरोह के कुछ रूपये मिले थे, जो उन्होने खर्च कर दिये है। रूपयों की बरामदगी फारूख के गिरफ्त में आने पर हो पायेगी। गिरफ्त में आये गिरोह के चार सदस्यों को जेल भेजा गया है।

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