क्राइम ब्रांच ने पकड़ा करोड़ों का ऑनलाइन सट्टा, मंदसौर की गैंग धराई
इंदौर। शहर में लंबे समय से ऑनलाइन गेमिंग वेबसाइट सट्टा संचालित करते मंदसौर, बिहार के युवकों को क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार किया है। गैंग से बड़ी मात्रा में गैजेट्स और करोड़ों रुपयों का हिसाब बरामद हुआ है। ये लोग युवाओं और बच्चों को जल्द अमीर बनाने का लालच देकर इस अवैध गेमिंग सट्टे से जोड़ते थे। डीसीपी आरके त्रिपाठी ने बताया कि मानवता नगर मकान नंबर 170-ए में ऑनलाइन सट्टा संचालित होने की सूचना मिली। टीम ने कार्रवाई की तो पता चला कि संदिग्ध युवक लैपटॉप, मोबाइल, बैंक पासबुक, चेक बुक के साथ बैठे हैं। उनके पास लगातार फोन और मैसेज आ रहे थे। मौके से परीक्षित (26) पिता रमेशचंद लोहार, रोशन (20) पिता विनोद लालवानी, विजय (22) पिता राजेंद्र विश्वकर्मा, अभिषेक (26) पिता चैनराम यादव, राजेश (19) पिता नरेश, प्रफुल्ल (26) पिता चंद्रशेखर सोनी, महेंद्र (28) पिता भंवर सिंह सभी निवासी ग्राम दलौदा (मंदसौर) के साथ रुचित (25) पिता राजसिंह निवासी गोपालगंज अमीरगंज (बिहार) को गिरफ्तार किया। आरोपियों ने टेलीग्राम ग्रुप से एडमिन आइडी ली। जीतने पर ऐप के माध्यम से पैसा निकालने की अनुमति मिलती है। बाद में जीते पॉइंट के आधार पर खाते में पैसा ट्रांसफर हो जाता है। आरोपियों से 6 लैपटॉप चार्जर, 29 मोबाइल, 13 चेक बुक, पासबुक, 12 हजार से अधिक रुपए जब्त किए। एडिशनल डीसीपी राजेश दंडोतिया ने बताया, गैंग के तार दुबई मनी एक्सचेंज से जुड़े हैं। परीक्षित गैंग का मास्टरमाइंड है। उसे टेलीग्राम पर कोई यूआरएल आया, उससे उसने अवैध गेमिंग सट्टा शुरू किया और बिहार व मंदसौर के युवकों को गैंग में शामिल किया। आरोपी एक दिन में 8 से 10 लाख का सट्टा लगाते थे। सालभर से इस काम में लगे थे। करीब 10 करोड़ का ऑनलाइन सट्टा खेला गया। यह भी पता चला है कि मास्टरमाइंड को इस काम के लिए 50 हजार तो उसके अन्य 7 साथियों को 25 हजार तनख्वाह मिलती थी।