सर्वे की घडी नजदीक आई,दिल्ली में दस्तावेज सत्यापन में शासकीय स्कूल के साथ निजी का भी होगा सर्वे -अगले सप्ताहांत टीम के आने की सुगबुगाहट तेज हुई

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उज्जैन। स्वच्छता सर्वेक्षण के सर्वे टीम के आने की घडी अब नजदीक आती जा रही है। नगर निगम के दस्तावेजों का सत्यापन होने के बाद दिल्ली से टीम अगले सप्ताहांत उज्जैन पहुंचने की संभावना प्रबल है। इस बार शासकीय स्कूलों के साथ निजी स्कूलों का भी सर्वे टीम करने पहुंचेगी। स्कूलों में तीन केटेगरी में सीधे 400 अंक का दाव रहेगा। इस बार 12 हजार 500 अंक का सर्वेक्षण होने वाला है।

नगर निगम उज्जैन में स्वच्छता सर्वेक्षण की तैयारी तेज कर दी गई है। बताया जा रहा है कि दस्तावेजों के सत्यापन के साथ ही अगले सप्ताहांत तक दिल्ली से स्वच्छता सर्वेक्षण के लिए टीम शहर में डेरा डाल देगी । टीम आकस्मिक तौर पर ही आकर अपने सर्वेक्षण के काम को अंजाम देती है। 07 अप्रेल के बाद कभी भी टीम सर्वे करने के लिए शहर आ सकती है। इस बार सर्वे में शहर के शासकीय एवं निजी स्कूलों को भी शामिल किया गया हैं। थर्ड पार्टी सर्वे में स्कूलों की सफाई का मूल्यांकन भी होगा। इससे नगर निगम की जिम्मेदारी दोहरी हो गई है। इस बार भी हालात जो बयां कर रहे हैं उसके अनुसार शहर में स्वच्छता सर्वे में अच्छे अंक लाने के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ेगी। क्योंकि, सरकारी व निजी स्कूलों में गीले-सूखे कचरे के लिए अलग-अलग डस्टबिन नहीं मिले तो नंबर कट जाएंगे। जारी गाइड लाइन में ऐसे 04 पैरामीटर तय किए गए हैं। उसके आधार पर सर्वे टीम स्कूलों की सफाई की जांच करेगी। बड़ी बात यह है कि अगर स्कूलों में गंदगी या सफाई से जुड़ी किसी भी प्रकार की कमी मिलीं तो माइनस मार्किंग होगी। इसका आशय जो अंक मिलने हैं उनमें से भी अंक कट जाएंगे।

दस्तावेजों सत्यापन के दौर में-

 

बताया जा रहा है कि नगर निगम की और से स्वच्छता सर्वेक्षण के लिए आनलाईन अपलोड किए गए सर्वेक्षण संबंधी दस्तावेजों का भौतिक सत्यापन का दौर शुरू हो चुका है। यह काम जल्द ही पूरा हो जाएगा। इसके बाद स्वच्छता सर्वेक्षण की टीम दस्तावेजों के आधार पर कभी भी धरातल पर सत्यापन करने के लिए आएगी। इस बात की जानकारी लगने के साथ ही नगर निगम ने तैयारियों को लेकर अपनी गति बढा दी है ।  इसमें भी पहले वाटर प्लस, गार्बेज फ्री सिटी स्टार रेटिंग और अंत में फाइनल सर्वे होगा।

इस बार 12 हजार 500 अंक का सर्वे-

शहरी विकास मंत्रालय द्वारा जारी गाइड लाइन के अनुसार इस बार स्वच्छ सर्वेक्षण 12 हजार 500 अंक का होगा। इसके लिए 09 हजार 500 अंक निर्धारित थे। लेकिन, सरकार ने बीच में बदलाव कर दिया है। 12 हजार 500 अंक में से 1300 अंक गार्बेज फ्री सिटी, 1200 ओडीएफ डबल प्लस व वाटर प्लस सर्वे और 10 हजार अंक अप्रैल से जनवरी तक के 04 फेस के हैं। पहले और दूसरे फेस के 500, जबकि, तीसरे व चौथे फेस के 9000 अंक निर्धारित किए गए हैं।

स्कूलों के लिए 03 कैटेगरी में 400 अंक-

स्कूलों की स्वच्छता                100 अंक

स्कूलों में अपशिष्ट प्रबंधन         150 अंक

शौचालयों का रखरखाव          150 अंक

नोट- गंदगी मिलने पर होगी माइनस मार्किंग

 

 

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